
बदायूं। विश्व प्रसिद्ध दरगाह आलिया कादरिया पर हुजूर शाह ऐनुल हक हजरत मौलाना अब्दुल मजीद कादरी बदायूंनी साहब के 183वें सालाना उर्स-ए-पाक की तीन रोजा महफिल का आगाज बड़े ही शानो शौकत के साथ 19 नवंबर को होगा।
शुक्रवार को नाजिमे उर्स हाफिज अब्दुल कय्यूम क़ादरी की ओर से खानकाहे कादरिया के प्रवक्ता मोहम्मद तनवीर खान कादरी ने बताया कि दरगाह आलिया कादरिया पर हुजूर शाह ऐनुल हक हजरत मौलाना अब्दुल मजीद कादरी बदायूंनी साहब के 183वें सालाना उर्स-ए-पाक की तीन रोजा महफिल का आगाज 19 नवंबर को खानकाहे कादरिया के साहिबे सज्जादा काज़ी ए ज़िला खतीब-ए- हिंदुस्तान हजरत मौलाना अब्दुल गनी मोहम्मद अतीफ मियां कादरी की सरपरस्ती एवं निगरानी में शुरू होगा।
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इस तरह होंगे कार्यक्रम
बदायूं। उन्होंने बताया कि 19 नवंबर को कुरआन ख्वानी से उर्स का आगाज़ होगा। हल्का-ए-जिक्र की महफिल सजेगी, दिन भर नात ख्वाहों द्वारा रूहानी कलामो की महफिल सजेगी। 20 नवंबर को जुहर की नमाज के बाद तबर्रुकात शरीफ की जियारत कराई जाएगी उसी दिन ईशा की नमाज के बाद क़ादरी मजीदी कांफ्रेस आयोजित होगी। 21नवम्बर को फज्र की नमाज के बाद कुल शरीफ की फातिहा के साथ उर्स की महफिल का समापन होगा।
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देश-विदेश से आएंगे जायरीन, की गईं व्यवस्थाएं
बदायूं। उर्स में हर बार की तरह इस बार भी देश व विदेश से बड़ी संख्या में जायरीनों के आने की उम्मीद है, जिनके ठहरने व खानपान का प्रबंध मदरसा आलिया कादरिया द्वारा किया गया है। सारे इंतज़ाम पर हुज़ूर ताजदारे अहले सुन्नत के छोटे साहबजादे हज़रत मौलाना अज्जाम मियां क़ादरी की देखरेख में हो रहे हैं।
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पूरा बदायूं का मीडिया इस मामले में चुप्पी साधे बैठा है। अरे बेगैरत पत्रकारों दारू खरीदकर पी लो। मुफ्त की लेकर ज्योति बाबू के खिलाफ लिख भी न पा रए तो डूब जाओ चुलू भर पानी में। अमर उजाला दैनिक जागरण और हिंदुस्तान के रिपोर्टर बिकाऊ है। दारू के एक quater में बिक जाते है। पोर्टल वाले वैसे तो हगने मूतने की खबर तक चला देते है, लेकीन यहां किसी की हिम्मत नहीं हो रहे। साले बिकाऊ पत्रकार।