जमीन पर तड़पता रहा मरीज...डॉक्टर कर रहे थे रेफर, केवल बीपी की दवा से हो गया काम

जमीन पर तड़पता रहा मरीज...डॉक्टर कर रहे थे रेफर, केवल बीपी की दवा से हो गया काम

बदायूं। उपनगरों और कस्बों में चल रहे सीएचसी और पीएचसी आदि किस प्रकार अस्पताल न होकर केवल रेफरल सेंटर बन गए हैं, इसकी बानगी बुधवार को बिसौली में देखने को मिली। यहां लाया गया एक मरीज तड़पता रहा लेकिन डॉक्टर और स्टाफ उसे देखने को तैयार नहीं हुए। जैसे तैसे दो गोली दी भी गईं तो उसके बाद जिला अस्पताल रेफर करने को बोल दिया। 

बिसौली के गांव दम्मीनगर निवासी वेदप्रकाश (70) की तबीयत बुधवार को अचानक बिगड़ गई। इसके बाद उनका बेटा राजू और नाती अंश उन्हें बिसौली सीएचसी पर ले गए। परिजनों के अनुसार, यहां उन्हें कोई बेड पर लिटाने वाला नहीं मिला। थोड़ी ही देर में वेदप्रकाश की तबीयत इतनी बिगड़ गई कि वह जमीन पर लेटकर तड़पने लगे। कहने के बाद भी कोई स्टाफ उन्हें देखने नहीं आया। इसके बाद वहां मौजूद डॉक्टर ने दो गोली देकर बिना देखे उन्हें जिला अस्पताल रेफर करने को बोल दिया। इसके बाद एमओआईसी को फोन लगाया गया तो उनका फोन रिसीव नहीं हुआ। कुछ लोगों द्वारा कहे जाने पर जब वेदप्रकाश का बीपी चेक किया गया तो बीपी काफी कम निकला। इस पर उन्हें बीपी की दवा दी गई। थोड़ी ही देर में उनकी हालत में सुधार आ गया। लोगों का कहना था कि डॉक्टरों ने मरीज को देखे बिना ही रेफर करने को बोल दिया जबकि उनका केवल बीपी कम था। यदि बीपी समय पर चेक न किया जाता तो मरीज की जान को भी खतरा हो सकता था। लोगों का यह भी कहना था कि सामान्य रोगियों तक को यहां न देखकर रेफर कर दिया जाता है। 

-----

स्टाफ को आवाज दी तो किया अनसुनी

बदायूं। बताते हैं कि वेदप्रकाश के तड़पने के बाद कुछ लोगों ने वहां स्टाफ को बुलया लेकिन स्टाफ एसी कमरे में मोबाइल फोन में व्यस्त रहा। किसी ने मरीज को देखने की जहमत नहीं उठाई। 

Leave a Reply

Cancel Reply

Your email address will not be published.

Follow US

VOTE FOR CHAMPION

Top Categories

Recent Comment

  • user by Rt

    Rt

    quoto
  • user by Sunil kumar

    Bdn ke neta harami hain

    quoto
  • user by अनिकेत साहू

    पूरा बदायूं का मीडिया इस मामले में चुप्पी साधे बैठा है। अरे बेगैरत पत्रकारों दारू खरीदकर पी लो। मुफ्त की लेकर ज्योति बाबू के खिलाफ लिख भी न पा रए तो डूब जाओ चुलू भर पानी में। अमर उजाला दैनिक जागरण और हिंदुस्तान के रिपोर्टर बिकाऊ है। दारू के एक quater में बिक जाते है। पोर्टल वाले वैसे तो हगने मूतने की खबर तक चला देते है, लेकीन यहां किसी की हिम्मत नहीं हो रहे। साले बिकाऊ पत्रकार।

    quoto